लोकसभा शीतकालीन सत्र में जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल पेश हुआ

0

नई दिल्ली । संसद के शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल एवं जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन संशोधन विधेयक पेश किया गया। आरक्षण संशोधन बिल का शरद पवार की पार्टी एनसीपी ने समर्थन किया। आज सत्र के दौरान कई प्रमुख मुद्दों पर भी चर्चा की गई। इससे पहले गृहमंत्री अमित शाह ने सदन से दोनों विधेयकों पर चर्चा करने का प्रस्ताव रखा जिस पर चर्चा की गई।

अमित शाह ने कहा कि एक देश में कैसे दो प्रधानमंत्री हो सकते हैं

संसद के शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन अनेक मुद्रदों पर सारगर्भित चर्चा की गई। इसके साथ ही आज लोकसभा में जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल पेश किया गया, जिसका शरद पवार की पार्टी एनसीपी ने समर्थन किया। बिल पर चर्चा के दौरान टीएमसी सांसद ने कहा कि लोगों को काम चाहिए जो कि सरकार नहीं दे पा रही है। वहीं एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले ने बिल का समर्थन करते हुए कहा कि हम इसका समर्थन करते हैं। वहीं बिल पेश कर रहे गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि एक देश में कैसे दो प्रधानमंत्री हो सकते हैं? जम्मू-कश्मीर आरक्षण बिल पहले शाम 4 बजे पेश होना था, लेकिन इसे पहले पेश कर दिया गया। शाह ने जम्मू-कश्मीर से संबंधित दो बिल सदन में पेश किये।

गृहमंत्री अमित शाह ने पेश किए दो बिल

लोकसभा में आज मंगलवार को जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल एवं जम्मू-कश्मीर रिऑर्गेनाइजेशन बिल गृहमंत्री अमित शाह ने पेश किया। गौरतलब है कि रिजर्वेशन अमेंडमेंट बिल शाम 4 बजे पेश किया जाना था, लेकिन इसे पहले ही पेश कर दिया गया। गृह मंत्री शाह ने जम्मू-कश्मीर रिजर्वेशन अमेंडमेंट बिल और जम्मू-कश्मीर रिऑर्गेनाइजेशन बिल लोकसभा में पेश करते हुए कहा कि एक देश में कैसे दो पीएम हो सकते हैं?

टीएमसी सांसद सौगत राय का आरोप – रोजगार नहीं दे पा रही सरकार

सदन में संशोधन बिल पर सारगर्भित चर्चा की गई। इसी दौरान जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल पर टीएमसी सांसद सौगत राय ने कहा कि लोगों को रोजगार चाहिए है, जो कि सरकार नहीं दे पा रही है। उन्होंने लोगों को काम नहीं देने पर सरकार को आड़े हाथ लिया। बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक के दौरान इस बात को लेकर सभी दलों में सहमति बनी कि संसद के नए सत्र में कोई भी तख्तियां लेकर नहीं आएंगे। लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि मैं आग्रहपूर्वक कहता हूं कि सभी सदस्य मर्यादा बनाए रखें। उन्होंने कहा कि प्लेकार्ड लाएंगे तो कार्रवाई करनी पड़ेगी।

तूफान प्रभावित क्षेत्र में केंद्रीय दल भेजने की उठी मांग

लोकसभा में डीएमके नेता टीआर बालू और टीडीपी सांसद जयदेव गल्ला ने केंद्र सरकार से आग्रह किया कि चक्रवात ‘मिगजॉम’ के कारण हुए नुकसान के आंकलन के लिए प्रभावित क्षेत्रों में केंद्रीय दल भेजा जाए। दोनों ही सदस्यों ने तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में केंद्रीय टीम भेजे जाने की मांग रखी। वहीं, एक अन्‍य मुद्दे पर केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का कहना है कि जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाने वाले डिफॉल्टरों पर कार्रवाई की जा रही है। बैंक इन डिफॉल्टरों से पैसा वापस लेने के लिए उचित कदम उठा रहे हैं। उन्होंने बताया कि 31 मार्च 2020 तक कुल 33,801 करोड़ रुपये की वसूली की गई है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *