जब शशि कपूर ने तवायफ को मनाने के लिए फेंके थे पैसे पे पैसे, दांव पर लगी थी इज्जत
नई दिल्ली. कहते हैं फिल्मों की कहानी अक्सर असल जिंदगी से प्रेरित होती है. लेकिन जब कहानी के बीच असल जिंदगी के कुछ पन्ने खुल जाए, तो पूरी किताब ही बदलने लगती है. आज हम आपको एक ऐसा किस्सा सुनाने जा रहे हैं. जब एक फिल्म में तवायफ के रोल के लिए एक असली तवायफ को कास्ट किया जा रहा था. उस तवायफ ने इनकार किया तो शशि कपूर के हाथ-पैर फूल गए. उन्होंने उसे और पैसों का ऑफर किया और फिर कुछ ऐसा हुआ कि उस पूरी महफिल में सन्नाटा पसर गया. हम आपको बताते हैं कि उसे महफिल में ऐसा क्या हुआ.
ये किस्सा 31 साल पहली आई फिल्म ‘इन कस्टडी’ है. फिल्म में शशि कपूर, शबाना आजमी, ओम पुरी और नीना गुप्ता जैसे दिग्गज सितारे थे. फिल्म में तवायफ का किरदार था, जिसके लिए उन्होंने भोपाल का रुख किया. वहां कुछ ऐसा हुआ कि शशि कपूर के हाथ फूल गए. क्या है ये मजेदार किस्सा आपको बताते हैं…
इस्माइल मर्चेंट ने बनाई थी फिल्म
दरअसल, 1993 में इस्माइल मर्चेंट ने अनिता देसाई की नॉवेल ‘इन कस्टडी’ पर फिल्म बनाई, जिसकी शूटिंग भोपाल में शुरू हुई इस फिल्म में एक उर्दू शायर होता है, जिसकी दो बीवियां हैं, जिसमें से एक तवायफ है. फिल्म के एक सीन में एक मुजरा का सीन शूट होना था, जिसके लिए इस्माइल मर्चेंट ने शशि कपूर से बात कि उन्होंने असली मुजरा कार्यक्रम का सुझाव दिया.शशि कपूर ने1961 में रिलीज हुई फिल्म ‘धरमपुत्र’ के साथ बॉलीवुड में एंट्री ली थी.
जब क्रू ने कहा- ‘मैं एक तवायफ को जानता हूं’
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस्माइल मर्चेंट ने प्रोडक्शन मैनेजर को भोपाल के किसी व्यक्ति से मुजरे के लिए एक असली तवायफ को ढूंढने को बोला तो पता चला कि जिस जगह पर मुजरा करने वाली तवायफ रहा करती थीं, उन सबने ये काम छोड़कर घरेलू जिंदगी को अपना लिया है. वक्त कम था, इसलिए शहर से दूर भी किसी तवायफ को ढूंढ़ने नहीं जाया जा सकता. क्रू से किसी एक शख्स ने प्रोडक्शन मैनेजर को बोला कि मैं एक तवायफ को जानता हूं, मैं बात करके देखता हूं.इन कस्टडी’ ने साल 1993 में रिलीज हुई थी.
जब तवायफ ने रखी एक शर्त
वो उस तवायफ के एक मामूली से घर में गया और बाहर आकर बोला कि मैंने उसे गाने के लिए मना लिया है. इसके लिए वो 10 हजार रुपए लेगी और उसने एक शर्त रखी है कि उसे कोई लेने नहीं जाएगा. जहां भी ये आयोजन है वो उधर वह अपने साथियों के साथ आपने आप आ जाएगी. एडवांस लेने के बाद अगले दिन वो अपने साथियों के साथ होटल में आ गईं. लेकिन जैसे ही नजारा देखा तो रोने लगी. दरअसल, जिस शख्स ने उसे बुलाया था उससे ये कहा था कि सिर्फ शशि कपूर उनका मुजरा देखेंगे.
जब मुजरा करने से किया इनकार
भीड़ देख उसने मुजरा करने से मना कर दिया. ये बात शशि कपूर तक पहुंची. तो उन्होंने वह उस महिला के पास गए और पूछा क्या कारण है. इसके जवाब देते हुए वो रोने लगी और बोलीं- ‘मैं ये गाने का काम पहले ही छोड़ चुकी हूं और घरेलू जिंदगी में व्यस्त हूं. घर की हालत ठीक नहीं है, शौहर भी बीमार रहते है, पैसों की जरूरत थी इसलिए उसने ये प्रस्ताव स्वीकार किया लेकिन यहां और भी लोग है, किसी ने मुझे मुजरा करते हुए पहचान लिया तो बदनामी होगी.’
जब लोगों में बढ़ी शशि कपूर के लिए इज्जत
महिला ने एडवांस भी वापस करना चाहा तो शशि कपूर ने कहा कि देखिए आप भी कलाकार है और मैं भी, हम सब एक ही बिरादरी के हैं. इसलिए आप घबराए नहीं. शशि कपूर ने वो 10 हजार रुपए में कुछ और रुपए जोड़कर उसको दिए और उसके साथियों को भी. ये देखकर वो फूट-फूटकर रोने लगी. महिला की ये बात सुनने के बाद शशि कपूर ने उस मुजरे की जगह लोक संगीत का आयोजन किया था, जिसके बाद एक्टर की काफी तारीफ हुई थी.