बिना इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट के उद्योग और देश का विकास संभव नहीं: वी. मुरलीधरन
विदेश राज्यमंत्री के साथ झारखण्ड चैंबर की बैठक
RANCHI: रांची प्रवास के दौरान आज भारत सरकार के विदेश और संसदीय राज्यमंत्री वी. मुुरलीधरन ने चैंबर भवन में फेडरेशन ऑफ झारखण्ड चैंबर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्रीज के सदस्यों संग बैठक की।
बैठक में उपस्थित पूर्व राज्यसभा सांसद महेश पोद्दार ने कहा कि पूर्वी क्षेत्र के विकास से ही देश का विकास संभव है। खुशी है कि इस दिशा में भारत सरकार द्वारा निरंतर प्रयास किये जा रहे हैं।
झारखण्ड की बिजली व्यवस्था पर चिंता जताते हुए उन्होंने कहा कि दुखद है कि झारखण्ड में राज्य का एक भी विद्युत उत्पादन केंद्र नहीं है।
ट्रेड लाईसेंस की व्यवस्था पर भी उन्होंने नाराजगी जताई और कहा कि मात्र 18 करोड राजस्व के लिए राज्य के छोटे छोटे व्यापारियों को इंस्पेक्टर राज के हवाले कर दिया गया है, इस व्यवस्था में सुधार होना चाहिए।
मंत्री से उन्होंने आग्रह किया कि कृपया अपने स्तर से राज्य से रोजगार प्राप्ति के लिए जानेवाले लोगों के लिए प्रदेश में प्रशिक्षण केंद्र खोला जाय।
इससे काफी संख्या में लोगों को रिलीफ मिलेगा। यह भी मांग की कि झारखण्ड के मुद्दों को पूर्वी क्षेत्र के मुद्दों के तौर पर आप संसद में प्रमुखता दें।
उन्होंने यह भी आग्रह किया कि देशभर के चुनिंदा राज्य के छोटे-छोटे चैंबर्स को संगठित करने की दिशा में भी भारत सरकार द्वारा जरुरी पहल की जानी चाहिए।
उन्होंने यह भी कहा कि आज कृषकों से ज्यादा छोटे व्यापारियों की कठिनाईयां बढी हैं, संसद में व्यापारियों की पीडा पर भी चर्चा होनी चाहिए।
चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने अपने संबोधन के दौरान झारखण्ड से निर्यात को बढ़ावा देने हेतु रांची में डीजीएफटी कार्यालय की स्थापना करने, राज्य में एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल का गठन करने, राजधानी में विष्वस्तरीय ट्रेड सेंटर का निर्माण करने,
झारखण्ड के विश्वप्रसिद्ध कुचाई सिल्क की अंतर्राष्ट्रीय पहुंच के लिए भारत सरकार द्वारा सहयोग करने, आयात-निर्यात संबंधित कठिनाईयों के त्वरित समाधान के लिए वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय द्वारा सभी राज्यों के चैंबर ऑफ कॉमर्स के प्रतिनिधित्व से सलाहकार समिति का गठन करने की मांग की।
विदेश एवं संसदीय राज्यमंत्री वी. मुरलीधरन ने चैंबर अध्यक्ष की सभी मांगों पर सकारात्मक कार्रवाई के लिए आश्वस्त किया।
यह भी कहा कि बिना इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट के उद्योग और देश का विकास संभव नहीं है।
भारत सरकार इस दिशा में निरंतर कार्यरत है। प्रधानमंत्री जी के निर्देशो के अनुरूप हमारी सरकार ट्रेड, टूरिज्म और टेक्नोलॉजी के डेवलपमेंट में कार्यरत है।
भारतीय अर्थव्यवस्था को गति देने और भारतीय कारोबारियों के व्यापार को बढावा देने हेतु एक्सर्टनल अफेयर मिनिस्ट्री, वाणिज्य और एमएसएमई मंत्रालय मिलकर कार्यरत हैं, जिसके सार्थक परिणाम आ रहे हैं।
उन्होंने आश्वस्त किया कि झारखण्ड के स्टेकहोल्डर्स की जो भी समस्याएं उनके संज्ञान में लाई जायेंगी, उसका त्वरित समाधान सुनिश्चित कराया जायेगा।
कार्यक्रम के दौरान जेसिया अध्यक्ष अंजय पचेरिवाल ने भी सूक्ष्म एवं लघु उद्योगों के विकास से जुडी बिंदुओं पर अपने विचार साझा किया।
चैंबर महासचिव परेश गट्टानी ने धन्यवाद ज्ञापन करते हुए भारत सरकार के मौजूदा विदेश नीति की प्रशंसा की और कहा कि सरकार की नीति के कारण ही अब विदेशों में लोग हम भारतीयों को बडे ही सम्मान और आदरभाव से देखते हैं जो हमारे लिए गर्व की बात है।
कार्यक्रम का मंच संचालन कोषाध्यक्ष ज्योति कुमारी ने करते हुए कहा कि एक निश्चित समयावधि में तेज गति से 5 ट्रिलियन अमरीकी डॉलर अर्थव्यवस्था के लक्ष्य को हासिल करने के लिए माल और सेवाएं दोनों स्तर पर निर्यात को बढावा देना बेहद जरूरी है।
ताकि कम लागत और पर्याप्त माल एवं उपयोगिता के बुनियादी ढांचे के जरिए कम लागत और परिचालन संबंधी माहौल को बढावा दिया जा सके।
बैठक में चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री, उपाध्यक्ष राहुल साबू, आदित्य मल्होत्रा, महासचिव परेश गट्टानी, सह सचिव अमित शर्मा, कोषाध्यक्ष ज्योति कुमारी,
कार्यकारिणी सदस्य नवजोत अलंग, संजय अखौरी, साहित्य पवन, विकास विजयवर्गीय, डॉ0 अभिषेक रामाधीन, सुनिल केडिया, पूर्व अध्यक्ष आरके सरावगी, रंजीत टिबडेवाल,
बिकास सिंह, सदस्य एनके पाटोदिया, बिनोद अग्रवाल, विवेक अग्रवाल, विजयषंकर, विकास झाझरिया, धीरज ग्रोवर, प्रमोद सारस्वत, विवेक टिबडेवाल, रणधीर शर्मा, संतोष उरांव, सिद्धार्थ जयसवाल,
शशांक भारद्वाज, राजीव चौधरी, ओपी लाल, मनोज मिश्रा, आस्था किरण, अरूण जोशी, आलोक गेरा, प्रमोद श्रीवास्तव के अलावा क्षेत्रीय पासपोर्ट कार्यालय, रांची के पदाधिकारी उपस्थित थे।